नगराधीश ने प्रशिक्षण केन्द्रों का किया निरीक्षण
BOL PANIPAT , 19 जनवरी। महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा आंगनवाडी वर्करों व हैल्परों को जिला भर में विभिन्न सेंटर बनाकर प्ले-वे स्कूलों के लिए प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसी कड़ी में नगराधीश राजेश सोनी ने मडलौडा ब्लॉक के नैन, नारा, शौदापुर व शेरा गांव में बने प्रशिक्षण केन्द्रों का निरीक्षण किया। निरीक्षण के उपरान्त उन्होंने बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा फैसला लिया गया है कि आंगनवाडी केन्द्रों को प्ले-वे स्कूल में तबदील कर बाल शिक्षा में और सुधार किया जाएगा। इस दौरान उन्होंने विभाग की सुपरवाईजरों को निर्देश दिए कि प्रशिक्षण के दौरान कोविड नियमों का अच्छे तरीके से पालन होना चाहिए। इस दौरान उन्होंने कुछ अनमियतयाएं पाए जाने पर भी सुपरवाईजरों को निर्देश देते हुए कहा कि प्रशिक्षण के लिए विभाग द्वारा जारी निर्देशों का अच्छे तरीके से पालन होना चाहिए। उन्होंने बताया कि कोविड माहामारी के दौरान सभी आंगनवाड़ी केन्द्रों को आगामी आदेशो तक बन्द किया गया है इसलिए विभाग द्वारा इस समय का सुद्पयोग करते हुए ट्रेनिंग करवाई जा रही है।
उन्होंने बताया कि महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा सुपरवाईजरों के माध्यम से आंगनवाडी वर्करों व हैल्परों को प्ले-वे स्कूलों के लिए छोटे बच्चों को खेल-खेल में पढ़ाई करने की विभिन्न गतिविधियों की जानकारी दी जा रही हैं व इसी के साथ प्ले-वे स्कूलों में बच्चों को पढ़ाई जाने वाली तकनीकों की जानकारी भी दी जा रही है। इसके अतिरिक्त छोटे बच्चों के शारीरिक विकास को लेकर गतिविधियों का आयोजन, भौतिक विकास, भाषा विकास, गणित विकास और सामाजिक विकास को लेकर वर्करों को ट्रेनिंग दी जा रही है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में एक बच्चा साढे तीन से साढे चार साल की आयु होने के बाद ही स्कूल में प्रवेश करता है लेकिन नई शिक्षा नीति 2020 के तहत अब बच्चा तीन साल की आयु में प्ले-वे स्कूल के माध्यम से पढ़ाई शुरू कर पाएगा जिससे उसके मस्तिष्क का विकास अच्छे ढंग से हो पाएगा।
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