एन.एस.एस.यूनिट द्वारा 7 दिवसीय स्पेशल कैंप का शुभारम्भ.
BOL PANIPAT : 06 मार्च, 2025: जी.टी. रोड स्थित स्थानीय आई. बी.पी.जी. महाविद्यालय पानीपत में एन.एस.एस. यूनिट द्वारा सात दिवसीय स्पेशल कैंप जिसका विषय “यूथ फॉर डिजिटल लिटरेसी” का शुभारंभ किया गया । सर्वप्रथम प्रातः कालीन में स्वयंसेवकों को योगा करवाया गया। उद्घाटन समारोह के मुख्य अतिथि डॉ सोनू जी, आई. बी. एल. सोसाइटी के महासचिव श्री रवि गोसाई, प्राचार्या डॉ शशि प्रभा, उप प्राचार्या डॉ किरण मदान, डॉ पूनम मदान, डॉ. सुनीता ढांडा, डॉ. जोगेश, मिस खुशबू द्वारा रिब्बन कटवाकर उद्घाटन सत्र का शुभारंभ किया गया । मां सरस्वती के सामने दीप प्रज्वलन कर सभी ने उनका आशीर्वाद लिया। रवि गोसाई और प्राचार्या डॉ शशि प्रभा मलिक द्वारा मुख्य अतिथि डॉ सोनू सिंह को पौधा भेंट किया गया । प्राचार्या डॉ. शशि प्रभा मलिक ने स्वयंसेवकों को संबोधित करते हुए कहा कि “Not Me But You” का मतलब है स्वयं से पहले आप । एनएसएस के माध्यम से हम सभी समाज सेवा से जुड़ सकते हैं और समाज सेवा के कार्यों में हाथ बंटा सकते हैं । डिजिटल साक्षरता का तात्पर्य यह है कि किसी व्यक्ति को तकनीकी विकास और कौशल के बारे में जानकारी होना, जिससे वह इंटरनेट प्लेटफार्म सोशल मीडिया मोबाइल फोन का उपयोग अच्छे प्रकार से करने में सक्षम हो। श्री रवि गोसाई जी ने यह कहा कि हम सबको अपना लक्ष्य निर्धारित करना चाहिए ताकि आने वाले समय में हम जो बनना चाहते हैं वह समय आने पर बन सके । मुख्य अतिथि डॉ. सोनू जी, प्रोजेक्ट डायरेक्टर, रेड क्रॉस सोसाइटी, पानीपत ने स्वयंसेवकों को संबोधित करते हुए कहा कि आजकल हर व्यक्ति किसी न किसी क्षेत्र में अपना करियर बनाना चाहता है और सही तरीके से करियर चुनाव के लिए हर व्यक्ति को करियर काउंसलिंग की आवश्यकता होती है । उन्होंने स्वयंसेवकों को बहुत सारे सही से उदाहरण निजी जिंदगी से जुड़े हुए उदाहरण दिए और समझाया कि किस तरह से मेहनत की जाए जिससे जीवन में सफल हो सके। कैंप के पहले दिन हर्षित, वंशिका और नीतू ने कविता प्रस्तुत की। माफी मीणा और साक्षी ने हरियाणवी नृत्य प्रस्तुति दी । तत्पश्चात डॉ चेतना नरूला, असिस्टेंट प्रोफेसर, आईं. बी.पी.जी. कॉलेज द्वारा स्वयंसेवकों को डिजिटल लिटरेसी के बारे में समझाया गया । उन्होंने ईमेल आईडी बनाना, यूपी आईडी बनाना, डिजिटल पेमेंट करना और मोबाइल फोन से ही हम किस तरह अपनी तकनीकी ज्ञान को आगे बढ़ा सकते हैं यह सब कुछ समझाया । स्वयंसेवकों द्वारा बेस्ट आउट ऑफ वेस्ट प्रतियोगिता में बढ़ चढ़कर भाग लिया गया जिसमें निर्णायक मंडल की भूमिका डॉ. सुनीता ढांडा और डॉ. जोगेश के द्वारा निभाई गई। इस प्रतियोगिता में स्वयंसेवको के द्वारा पुरानी वस्तुओं से बेहतरीन नई वस्तुएं बनाई गई । इस कार्यक्रम में डॉ. पूनम मदान, डॉ संगीता, डॉ नीतू और मनीष, टिंकू गणेश, पूजा, पवन आदि उपस्थित रहे ।
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